बुधवार, 7 मार्च 2012

होली है तो भंग पीकर इन व्यंगो का मज़ा लीजिये


एक टोपी बेचने वाला दरख्त के नीचे आराम कर रहा था कि अचानक कुछ बंदर उसकी सारी टोपियाँ उठा कर ले गए। इन्सान की नकल करते बंदर को ख्याल आया और आदमी ने अपनी टोपी उतार के नीचे फेंकी तो बंदरो ने भी वैसा ही किया ... और आदमी अपनी टोपियाँ उठा के चला गया घर जाकर उसने ये वाकया अपने पोते को सुनाया।
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इत्तिफाक से सालों बाद पोता भी टोपियाँ बेचते हुए उस दरख्त के नीचे बैठा और बंदर फिर टोपियाँ ले गए। उसे अपने दादा की सुनाई हुई कहानी याद आई और उसने अपने सिर की टोपी उतार कर नीचे फेक दी।
यह देख एक बन्दर पेड़ से नीचे आया उसने टोपी को उठाया और आदमी को एक थप्पड़ मार कर बोला। अबे तू क्या सोचता है क्या हमारा दादा हमको कहानी नही सुनाता होगा!!!
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रजनीकांत वस अशोक सराफ
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रजनीकांत : बचपन में मेरे घर लाइट नहीं थी तो मैंने अगरबत्ती लगाकर पढाई की है !
अशोक : हो क्या
वो क्या है हमारे इधर भी लोड शेडिंग रहती थी और अगरबत्ती भी नहीं थी ,
फिर क्या
मेरा एक दोस्त था "प्रकाश" नाम का उसको साथ बिठाके पढाई की ,
पर फिर आगे वो बरसात में भीग गया और बुझ गया !
रजनीकांत : फिर क्या किया ...?
अशोक : कुछ नहीं ,
मेरी एक सहेली भी थी "ज्योति" नाम की ...:-/
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डॉक्टर संता, (मरीज बंता से): अब तबीयत कैसी है?
बंता: पहले से ज्यादा खराब है।
डॉक्टर: दवा खा ली थी?
बंता: नहीं दवाई की शीशी भरी हुई थी।
डॉक्टर: मेरे कहने का मतलब है कि दवा ले ली थी?
बंता: जी,आपने दी और मैंने ले ली।
डॉक्टर: अरे भाई, दवाई पी ली थी?
बंता: नहीं दवाई तो लाल थी।
डॉक्टर: बेवकूफ,दवाई को पी लिया था?
बंता: नहीं डॉक्टर साहब,पीलिया दवाई को नहीं मुझे था।
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दोस्त संता से: संता जी ये मोबाइल नया लिया है क्या??
संता: नहीं यार अपनी गर्लफ्रेंड का उठा कर ले आया हूँ.
दोस्त: क्यों?
संता: यार वो जब भी मिलती थी तो कहती थी "तुम मेरा फ़ोन क्यों नही उठाते??
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एक आदमी ने अपने घर फोन किया तो उधर से एक अनजान महिला की आवाज आई।

'कौन ?' - आदमी ने पूछा।
'मैं घर की नौकरानी बोल रही हूं ...' - महिला ने उत्तर दिया।
'लेकिन हमारे घर में तो कोई नौकरानी नहीं है।' - आदमी ने कहा।
'मुझे घर की मालकिन ने आज सुबह ही नौकरी पर रखा है।' नौकरानी ने जवाब दिया।
'अच्छा ठीक है, सुनो। इस वक्त तुम्हारी मालकिन कहां हैं ? मुझे उनसे बात करनी है।' - आदमी ने कहा
'वह तो बेडरूम में हैं। अपने पति के साथ।' - नौकरानी ने जवाब दिया।
'क्याऽऽऽ…? पति के साथ……? पर उसका पति तो मैं हूं …….. ' - आदमी गुस्से से भन्ना गया। उसने एक मिनट कुछ सोचा फिर बोला - 'हैलो ….. सुनो क्या तुम पचास हजार रूपये कमाना चाहोगी?'

'हां पर मुझे करना क्या होगा?' - नौकरानी ने पूछा
'तुम मेरी अलमारी से बंदूक निकालो और उस कुतिया और उसके साथ जो आदमी है उसे गोली से उड़ा दो।'
नौकरानी ने फोन नीचे रख दिया। आदमी ने पहले कदमों की और फिर दो गोलियां चलने की आवाज फोन पर सुनी।
नौकरानी ने वापस फोन उठाया और पूछा - 'अब इन लाशों का क्या करूं ?'
'उन्हें स्वीमिंग पूल में डाल दो।' - आदमी ने कहा

'...पर आपके घर में तो स्वीमिंग पूल नहीं है!' - नौकरानी ने जवाब दिया।

लगभग तीन-चार मिनट तक दोनों तरफ खामोशी छाई रही फिर आदमी की आवाज आई - "क्या ये नम्बर 7457965 ही है?"
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संता मैंगो जूस का ग्लास लेकर बैठा था। बंता आया और फटाक से जूस पी गया। संता: मेरी तो यार किस्मत ही खराब है। बेटा फेल हो गया,बीवी दोस्त के साथ भाग गई,घर में चोरी हो गई,नल में पानी नहीं है,घर में लाइट नहीं है। अब जूस में जहर डाल कर पीने को रखा था तो वो भी तू पी गया साले!!!
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ता सिंग पानी में डूब रहा था ..इतने में उसके हाथ में एक मछली गई .उसमे उसे हाथ मेर लेकर पानी के बाहर फेक दिया और कहा मै तो डूब रहा हूँ ..तुम ही बच जाओ
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एक व्यापारी के मुर्गी पालन केंद्र में कुछ व्यक्ति पहुंचे और पूछा - आप अपनी मुर्गियों को क्या खिलाते हैं ?? उसने बड़े गर्व से बताया - काजू, किशमिश और मेवे ..... आगंतुकों ने कहा की देश में लोग भूखे रहते हैं और तुम मुर्गियों को मेवे खिलाते हो ?? हम आयकर विभाग से हैं ?? चालान होगा.......................... बेचारा दुखी बैठा था के कुछ नए लोग गए ............ फिर वही सवाल - आप अपनी मुर्गियों को क्या खिलाते हैं ?? उसने रंज के साथ बताया - साहब अरे हम हम तो इनको कचरे में छोड़ देते हैं - चुग के जाती है.............. आगंतुकों ने कहा - इतना अत्याचार - जब खिला नहीं सकते तो फिर पालते क्यों हो ?? हम पशु और जीव अधिनियम से हैं --- चालान होगा .................... बेचारा बहुत दुखी हो गया ............................ थोड़ी देर बाद कुछ नए लोग आये ------------ फिर वही सवाल - आप अपनी मुर्गियों को क्या खिलाते हैं ?? अब उसको बहुत गुस्सा गई.... उसने कहा साहब मेरे पास कोई व्यवस्था नहीं है में सबको - रूपये दे देता हूँ - जिसको जो खाना खाकर जाती है ||
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संता (बंता से)- अंग्रेजों ने चांद पर पानी और बर्फ की खोज कर ली है।

बंता (संता से)- तो हमें अब सिर्फ दारु और नमकीन लेकर जाना है।
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एक मुर्गी मार्किट गयी और दुकानदार से बोली, एक अंडा देना।

दुकानदार- शर्म नही आती, मुर्गी होकर अंडा खरीदती हो।

मुर्गी- मेरे पति ने कहा है कि 3 रुपए केअंडे के लिए अपना फिगर खराब मत करो।
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एक सरदार जी काक्रोच पर शोध कर रहे थे.... उन्होंने उसकी एक टांग तोड़ी - बोले चल ---- काक्रोच थोड़ी देर से उठ लेकिन चलने लगा.....
सरदार जी ने दूसरी टांग तोड़ी ........... फिर कहा चल.... काक्रोच ... देर से उठा - लेकिन चलने लगा.....
सरदार जी ने तीसरी टांग तोड़ी ........... फिर कहा चल.... काक्रोच ... बहुत देर से उठा - लेकिन चलने लगा.....
सरदार जी ने चौथी टांग तोड़ी ........... फिर कहा चल.... काक्रोच ... बहुत देर से उठा - लेकिन घिसट घिसट कर चलने लगा.....
सरदार जी ने सभी टांग तोड़ दी ........... फिर कहा चल.... काक्रोच ... नहीं उठ पाया ..................
सरदार जी ने शोध में लिखा - काक्रोच की सभी टांग तोड़ने से वो बहरा हो जाता है
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पंजाब केसरी मेंशराब छुडायें’ ’शराब छुडायेंऎड पढ कर संता बाबा के पास पहुंचा.
संता - ’सुना है आप शर्तिया शराब छुडाते हैं ?
बाबा - हां, किसकी छुडानी है ?
संता - मेरी ही,
कल रात जी आर पी ने तीन पेटी पकड ली स्टेशन पर.
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एक शराबी की दास्ताँ ..

सोच रहा हूँ की दारु छोड दूँ ..!

पर ...

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किसके पास छोडूँ..... .!

सभी कमीने हैं ,

पी जायेंगे साले....... .
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